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गेहूं, बाजरा, रागी की रोटियों को पचने में कितना समय लगता है? जानें कौन से आटे की रोटियां किस मौसम में खाएं

भारत में रोटी सिर्फ एक भोजन नहीं, बल्कि हर घर की रोजमर्रा की जरूरत है. चाहे सुबह का नाश्ता हो या रात का खाना, गर्मी हो या सर्दी रोटी हर दिन, हर मौसम में खाई जाती है. यह एक साधारण लेकिन पोषण से भरपूर फ्लैटब्रेड होती है, जो अलग-अलग तरह के आटे और पानी से बनाई जाती है. जब तवे पर पकती है और फूलती है, तो उसकी खुशबू पूरे रसोईघर को महका देती है. रोटी सिर्फ पेट भरने का जरिया नहीं, बल्कि भारतीय संस्कृति में अपनापन और परंपरा की पहचान है. यह दाल, सब्ज़ी और करी के साथ मिलकर एक संतुलित भोजन बनाती है. लेकिन, क्या आप जानते हैं कि हर तरह की रोटी का पाचन समय अलग होता है और मौसम के अनुसार कौन-सी रोटी खाना बेहतर होता है?

सेलिब्रिटी न्यूट्रिशनिस्ट श्वेता शाह ने इंस्टाग्राम पर एक पोस्ट में बताया कि सभी रोटियां एक जैसी नहीं होतीं. उन्होंने कहा, “सिर्फ आटे के पोषक तत्व ही नहीं, बल्कि यह भी जरूरी है कि वह कितनी जल्दी या धीरे पचती है.”

तो आइए जानते हैं 7 तरह की रोटियों के बारे में:

गेहूं की रोटी

  • पाचन समय: 2 से 3 घंटे
  • कब खाएं: रोजाना खा सकते हैं.
  • फायदा: पेट को संतुष्टि देती है बिना भारीपन के.

ज्वार की रोटी

  • पाचन समय: 2 घंटे
  • कब खाएं: गर्मियों में सबसे बेहतर
  • फायदा: हल्की होती है, पेट पर आसान

बाजरे की रोटी

  • पाचन समय: 3 से 4 घंटे
  • कब खाएं: सर्दियों में खाना अच्छा रहता है.
  • ध्यान दें: ज्यादा खाने पर गैस बन सकती है.

रागी की रोटी

  • पाचन समय: 2.5 से 3 घंटे
  • कब खाएं: दिन में खाना बेहतर, रात में भारी लग सकती है.
  • फायदा: हड्डियों के लिए अच्छी, वजन कंट्रोल करने में मददगार.

चावल के आटे की रोटी

  • पाचन समय: 1 से 1.5 घंटे
  • कब खाएं: गर्मियों में और बच्चों या कमजोर पाचन वाले लोगों के लिए.
  • फायदा: जल्दी पच जाती है, हल्की होती है.

मक्के की रोटी

  • पाचन समय: 3 से 4 घंटे
  • कब खाएं: सर्दियों में सरसों का साग के साथ.
  • ध्यान दें: रोजाना न खाएं, क्योंकि यह पेट पर भारी पड़ सकती है.

अगर आप मौसम और अपने शरीर की जरूरत के अनुसार रोटी चुनें, तो यह आपके स्वास्थ्य के लिए और भी फायदेमंद हो सकती है. अगली बार जब आप रोटी बनाएं, तो सोचिए कि कौन-सी रोटी आपके लिए सबसे सही है.

 

 

अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें.  जगन्नाथ डॉट कॉम इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.)

Manoj Mishra

Editor in Chief

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