देश दुनिया

मिश्रा रोड’ बना ‘ख्वाजा रोड’, ‘चंदन नगर बना हुसैनी रोड’, इंदौर के पार्षद ने सड़कों के नाम बदल डाले

मध्य प्रदेश के इंदौर (Indore) में चंदन नगर की कई सड़कों पर नए साइनबोर्ड लगाए गए थे. आरोप लगाया गया कि ये साइनबोर्ड एक वार्ड पार्षद की ओर से लगाए गए और इसके जरिए सड़कों को नया नाम दिया गया. भारतीय जनता पार्टी (BJP) ने इस बात पर आपत्ति जताई कि नए नाम एक विशेष धर्म से जुड़े थे. मेयर पुष्यमित्र भार्गव ने मामले को लेकर कहा है कि सड़कों के नाम अवैध रूप से बदले गए और इसके लिए वार्ड पार्षद के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी. विवाद बढ़ने के बाद नए नाम वाले साइनबोर्ड हटा दिए गए हैं.

एक बोर्ड पर ‘सकीना मंजिल रोड’ और ‘चंदन नगर सेक्टर-बी वार्ड नंबर 2’ लिखा था. दूसरे बोर्ड पर ‘रजा गेट’ और ‘लोहा गेट रोड’ लिखा था. स्थानीय निवासी अब्दुल वाहिद खान ने बताया कि एक बोर्ड पर ‘गौसिया रोड’ के साथ ‘चंदू वाला रोड’ लिखा था. ऐसे ही एक बोर्ड पर ‘ख्वाजा रोड’ और ‘मिश्रा वाला रोड’ लिखा था. एक अन्य बोर्ड पर ‘हुसैनी रोड’ और ‘आम वाला रोड’ लिखा गया था.

BJP ने आंदोलन की चेतावनी दी

राज्य के शहरी विकास और आवास मंत्री कैलाश विजयवर्गीय के पुत्र और पूर्व BJP विधायक आकाश विजयवर्गीय ने नए नामों को लेकर आपत्ति जताई. उन्होंने इंदौर म्युनिसिपल कॉरपोरेशन (IMC) के आयुक्त शिवम वर्मा को पत्र लिखा और कहा कि सड़कों के नाम एक विशेष धर्म को ध्यान में रखकर बदले गए.

उन्होंने दावा किया कि ये साइनबोर्ड नगर निगम के कर्मचारियों द्वारा बदले गए. उन्होंने चेतावनी दी है कि अगर ये बोर्ड तुरंत नहीं हटाए गए तो आंदोलन किया जाएगा.

नए बोर्ड लगाने वाले पार्षद हैं कौन?

मेयर भार्गव ने मामले को लेकर कहा है कि वार्ड पार्षद फातमा रफीक खान ने चंदन नगर के वार्ड नंबर 2 में पांच सड़कों के नाम अवैध रूप से बदल दिए. उन्होंने निगम कर्मचारियों से नए साइनबोर्ड लगवाए. मेयर ने आगे बताया कि नए साइनबोर्ड हटा दिए गए हैं और पार्षद के खिलाफ कानूनी कार्रवाई के निर्देश दिए गए हैं.पार्षद के पति ने अलग दावे किए हैं

मामले को लेकर पार्षद के पति रफीक खान के दावे अलग हैं. उन्होंने आरोपों से इनकार किया है और कहा है कि उन्होंने दो साल पहले ही निगम से आग्रह किया था कि घनी आबादी वाले इलाके में लोगों की सुविधा के लिए साइनबोर्ड लगाए जाएं. उन्होंने दावा किया कि साइनबोर्ड पर वही नाम लिखे थे, जो करीब 40 सालों से इस्तेमाल हो रहे हैं.

रफीक खान ने कहा कि उन्हें और उनकी पत्नी को इस बात से कोई आपत्ति नहीं है कि विवादित साइनबोर्ड हटा दिए गए हैं. लेकिन वो अपना पक्ष रखने के लिए मेयर से मिलेंगे.

Manoj Mishra

Editor in Chief

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button