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एमपी में आउटसोर्स कर्मचारी का बढ़ेगा वेतन, हाईकोर्ट ने दिया आदेश, अब इतनी होगी सैलरी

मध्य प्रदेश के लाखों कर्मचारियों का वेतन बढ़ने वाला है। इंदौर हाईकोर्ट ने सरकार को वेतन बढ़ाने को लेकर निर्देश दे दिया है। इसके पहले सरकार द्वारा न्यूनतम वेतन दिया जाना प्रारंभ किया गया था लेकिन यह सिर्फ एक माह ही हो पाया। हाई कोर्ट के आदेश के बाद अब लाखों कर्मचारियों को वेतन वृद्धि का लाभ मिलेगा। इसके अलावा टेक्सटाइल से जुड़े कर्मचारियों और श्रमिकों को इस वेतन वृद्धि का लाभ नहीं मिलेगा। उनके लिए न्यूनतम वेतन निर्धारण करना पड़ेगा।

कर्मचारियों का बढ़ेगा वेतन ( MP News )

हाई कोर्ट की इंदौर खंडपीठ में मध्य प्रदेश में कार्यरत आउटसोर्स और ठेका कर्मचारियों के न्यूनतम वेतन को लेकर मामला चल रहा था। इस पर इंदौर खंडपीठ ने फैसला सुनाते हुए जल्द से जल्द न्यूनतम वेतन बढ़ाने के निर्देश दिए हैं। सब कुछ ठीक रहा तो अगले माह से कर्मचारियों का न्यूनतम वेतन बढ़कर मिलेगा। सरकार इसकी घोषणा कर सकती है। हाई कोर्ट द्वारा सरकार को न्यूनतम वेतन सिफारिश बोर्ड के साथ बैठक कर दो महीने के अंदर टेक्सटाइल्स श्रमिकों का न्यूनतम वेतन निर्धारण करने के भी निर्देश दिए गए हैं। टेक्सटाइल्स श्रमिकों को छोड़ दिया जाए तो मध्य प्रदेश के लगभग 20 लाख आउटसोर्स और ठेका कर्मचारियों के वेतन बढ़ जाएंगे।

पूरे मध्य प्रदेश में खुशी की लहर

कर्मचारी संगठन सीटू यूनियन द्वारा कर्मचारियों को दो भागों में बांटने का विरोध किया जा रहा है। सरकार द्वारा टेक्सटाइल्स कर्मचारियों को अलग श्रेणी में रखा गया है। इसका यूनियन द्वारा विरोध किया गया है। हाई कोर्ट द्वारा मध्य प्रदेश सरकार के विरुद्ध कर्मचारियों के हित में लिए गए फैसले से पूरे प्रदेश के 21 लाख कर्मचारियों में खुशी की लहर है। अब वह न्यूनतम वेतन वृद्धि बढ़ाने को लेकर काफी उत्साहित नजर आ रहे हैं। कर्मचारियों ने हाई कोर्ट के फैसले का स्वागत किया है और धन्यवाद भी दिया है।सिर्फ एक महीने ही मिल पाया था न्यूनतम वेतन
बता दें कि 2019 में न्यूनतम वेतन सिफारिश बोर्ड द्वारा आउटसोर्स और ठेका कर्मचारियों के न्यूनतम वेतन निर्धारण के लिए सिफारिश की गई थी, जिसे सरकार ने तो मंजूर भी कर लिया था और इसके बाद लगभग एक माह सरकार द्वारा कर्मचारियों को न्यूनतम वेतन भी दिया गया। इसके बाद टेक्सटाइल्स कर्मचारी संगठन द्वारा इंदौर हाई कोर्ट में सरकार के फैसले के विरुद्ध स्टे लाया गया। कोर्ट ने इस फैसले को 3 दिसंबर 2024 को हटा भी दिया। इसके बाद से कर्मचारी के वेतन को लेकर सरकार पर संगठनों द्वारा दबाव बनाया जा रहा है। जनवरी 2025 में सरकार द्वारा श्रमिकों को दो हिस्सों में विभाजित कर दिया गया। पहला हिस्सा टेक्सटाइल कर्मचारियों का और जबकि अन्य सभी आउटसोर्स ठेका कर्मचारियों का दूसरा हिस्सा बना दिया गया। इसका मतलब अब टेक्सटाइल कर्मचारियों का न्यूनतम वेतन अलग से निर्धारित करना होगा।

 

इतना मिलेगा न्यूनतम वेतन

हाई कोर्ट के ऑर्डर के बाद न्यूनतम वेतन सिफारिश बोर्ड द्वारा निर्धारित वेतन कर्मचारियों को दिया जाएगा। यह वेतन ₹18000 प्रति महान निर्धारित किया गया था। इसी का फायदा अब कर्मचारियों को मिलेगा।
इसके अलावा कर्मचारियों को सामाजिक सुरक्षा के लाभ भी दिए जाते हैं। कर्मचारियों को 15 दिन की वार्षिक पैड लीव, 5 लाख तक स्वास्थ्य बीमा कवरेज और ईपीए जैसे लाभ भी दिए जाने के आदेश दिए गए हैं। यह आदेश 1 जनवरी 2025 से प्रभावशील है।

Manoj Mishra

Editor in Chief

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