देश दुनिया

मछलियों को खिला दें ये चीज, तेजी से बढ़ जाएगा वजन, लाखों में कमाएंगे मुनाफा, जानें एक्सपर्ट की ये सलाह

रायबरेली : अगर आप मछली पालन का व्यवसाय करते हैं या शुरू करने की सोच रहे हैं, तो यह जानना बेहद जरूरी है कि मछलियों को कौन सा दाना देना सबसे बेहतर रहेगा. सही आहार न केवल मछलियों की तेजी से बढ़त में मदद करता है, बल्कि उनकी सेहत और बाजार में कीमत दोनों को बढ़ा देता है. दरअसल एक्वा कल्चर के क्षेत्र में 15 वर्षों का अनुभव रखने वाले रायबरेली के मत्स्य निरीक्षक शशांक नमन (बीएससी एग्रीकल्चर इलाहाबाद विश्वविद्यालय) बताते हैं कि संतुलित आहार, स्वच्छ पानी और नियमित निगरानी. अगर आप इन बातों का ध्यान रखें, तो मछलियां न केवल स्वस्थ रहेंगी, बल्कि आपकी आय में भी कई गुना बढ़ोतरी होगी.

मछलियों को आमतौर पर दो तरह का आहार दिया जाता है. प्राकृतिक आहार और कृत्रिम आहार. प्राकृतिक आहार में तालाब में पनपने वाले सूक्ष्म जीव, प्लवक (plankton), कीड़े-मकोड़े और शैवाल शामिल होते हैं.ये मछलियों के लिए प्रोटीन का अच्छा स्रोत होते हैं. लेकिन व्यावसायिक स्तर पर मछली पालन के लिए केवल प्राकृतिक आहार पर्याप्त नहीं होता है. ऐसे में कृत्रिम या तैयार दाने का उपयोग जरूरी होता है.सूखे दाने और गीले दाने. सूखे दानों में चावल की भूसी, गेहूं की भूसी, सरसों या मूंगफली की खली, मक्के का आटा, सोयाबीन पाउडर, और फिश मील (मछली पाउडर) का मिश्रण किया जाता है. एक सामान्य मिश्रण में 35–40% प्रोटीन होना चाहिए ताकि मछलियां तेजी से वजन बढ़ा सकें. अगर आप रोहू, कतला या मृगल जैसी भारतीय प्रमुख मछलियां पाल रहे हैं, तो इनके लिए 30–35% प्रोटीन वाला दाना उपयुक्त माना जाता है.वहीं पंगास, तिलापिया या मागुर जैसी मछलियों के लिए 40–45% प्रोटीन वाला आहार बेहतर रहता है.

दाना दिन में दो बार, सुबह और शाम को देना चाहिए

शशांक नमन बताते हैं कि एक बार में उतना ही दाना डालें, जितना मछलियां 10–15 मिनट में खा लें. अधिक दाना डालने से तालाब का पानी गंदा हो जाता है, जिससे ऑक्सीजन की कमी और बीमारियों का खतरा बढ़ता है. वह बताते हैं कि आजकल बाजार में रेडीमेड फीड भी उपलब्ध हैं, जैसे गॉडरेज, अवंती, अमृत फीड, और स्काईफिश है. ये संतुलित पोषण प्रदान करते हैं और तालाब के पानी को नुकसान नहीं पहुंचाते हैं.

Manoj Mishra

Editor in Chief

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button