सनातन धर्म में प्रदोष व्रत का विशेष महत्व है। इस दिन संध्याकाल में भगवान शिव और मां पार्वती की उपासना संध्याकाल में करने का विधान है। धार्मिक मान्यता है कि विधिपूर्वक पूजा और व्रत करने से इंसान को मनचाहा वर मिलता है और रुके हुए काम पूरे होते हैं। इसके अलावा विशेष चीजों का दान करने से जीवन की सभी समस्याओं से छुटकारा मिलता है। आइए इस आर्टिकल में हम आपको बताएंगे कि जनवरी में किए जाने वाले प्रदोष व्रत (Pradosh Vrat 2025) की डेट और शुभ मुहूर्त के बारे में। पंचांग के अनुसार,पौष माह के शुक्ल पक्ष की त्रयोदशी तिथि की शुरुआत 11 जनवरी को सुबह 08 बजकर 21 मिनट से होगी। वहीं, इस तिथि का समापन 12 जनवरी को सुबह 06 बजकर 33 मिनट पर होगा। ऐसे में 11 जनवरी को शनि प्रदोष व्रत ( Pradosh Vrat Dates 2025) किया जाएगा। इस दिन पूजा करने का शुभ मुहूर्त 05 बजकर 43 मिनट से लेकर रात 08 बजकर 26 मिनट तक है। पंचांग के अनुसार, माघ माह के कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि की शुरुआत 26 जनवरी को रात को 08 बजकर 54 मिनट से होगी। वहीं, इस तिथि का समापन 27 जनवरी को रात को 08 बजकर 34 मिनट पर होगा। ऐसे में 27 जनवरी को प्रदोष व्रत किया जाएगा। इस दिन सोमवार पड़ने की वजह से इसे सोम प्रदोष व्रत के नाम से जाना जाएगा। इस दिन महादेव की पूजा करने का शुभ मुहूर्त शाम को 05 बजकर 56 मिनट से 08 बजकर 34 मिनट तक है।
- इस दिन सुबह जल्दी उठें और स्नान करने के बाद वस्त्र धारण करें।
- सूर्य देव को अर्घ्य दें l इसके बाद चौकी पर साफ कपड़ा बिछाकर शिव परिवार की प्रतिमा को विराजमान करें। महादेव को फूलमाला और बेलपत्र समेत आदि चीजों को अर्पित करें। मां पार्वती को सोलह श्रृंगार की चीजें चढ़ाएं।
- देसी घी का दीपक जलाकर आरती और शिव चालीसा का पाठ करें।
- महादेव से जीवन में सुख-समृद्धि में वृद्धि के लिए कामना करें।
- सफेद मिठाई, हलवा, दही, भांग, पंचामृत, शहद और दूध समेत आदि चीजों का भोग लगाएं।
- संध्याकाल में भी विधिपूर्वक पूजा-अर्चना करें।
- पूजा करने के बाद अन्न और धन का दान करें