Blog

छत्तीसगढ़ में गांव-गांव बिछा सड़कों का जाल, प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना से राज्य में 25 वर्षों में बनी 40 हजार किमी सड़कें

राज्योत्सव में प्रधानमंत्री मोदी ने की राज्य में ग्रामीण सड़क निर्माण की सराहना

रायपुर। छत्तीसगढ़ में पिछले 25 सालों में गांव-गांव में बिछे सड़कों के नेटवर्क ने राज्य के ग्रामीण इलाकों की काया पलट दी है। अब राज्य के गांवों में नई सड़कों से आ रहे बदलाव को महसूस किया जा सकता है। पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी बाजपेयी ने देश के ग्रामीण इलाकों में बारहमासी सड़कों से जोड़ने के लिए प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना 2000 में शुरूआत की। यह योजना देश के साथ ही राज्य के ग्रामीण इलाकों में परिवर्तनकारी सिद्ध हुई। 

छत्तीसगढ़ में इस योजना के जरिए लगभग 40 हजार किलोमीटर सड़कें बनायी जा चुकी है। राज्य निर्माण के पहले यहां सड़कों का औसत देश के पूर्वोत्तर राज्यों से भी नीचे था। उस समय यहां ग्रामीण क्षेत्रों में मात्र 4200 किलोमीटर सड़कें थी। इस स्थिति में यहां के लोगों के जीवन स्तर का अनुमान सहज रूप से लागाया जा सकता था। देश में जब यह योजना शुरू हुई तब ग्रामीण समृद्धि का नया दौर शुरू हुआ। सड़कें केवल आवागमन का जरिया नहीं बल्कि यह सामाजिक आर्थिक परिवर्तन का माध्यम भी है। 

वर्तमान में ग्रामीण सड़कों के मजबूत नेटवर्क ने सुशासन और आंत्योदय के सपने को पूरा करने का मजबूत आधार दिया है। आज छत्तीसगढ़ के किसान अपने खलिहानों से धान की फसल खरीदी केन्द्रों तक आसानी से पहुचा पार रहे है। ग्रामीण इलाकों में सार्वजनिक वितरण प्रणाली के माध्यम से आसानी से  राशन पहुंच रहा है। आंगनवाडियों के पोषण आहार में गड़बडी जैसे मामले अब देखने को नहीं मिल रहे हैं। स्वास्थ्य सेवाओं की पहुँच बढ़ाने में भी सड़के मददगार सिद्ध हो रही है। 

Untitled design

सड़कों के लोगों में गतिशीलता बढ़ी है। लोग रोजगार और स्वरोजगार के नए नए माध्यमों को अपना रहे हैं। ग्रामीण इलाकों में लोग पुराने दिनों को याद करते हुए बताते हैं कि गांव की सड़के बहुत दुरूह होती थी। कई बार नदी  नालों को पार कर एक गांव से दूसरे गांव तक जाना पड़ता था। इस योजना ने उन्हें नई ताकत दी है। अब सड़के डामरीकृत होने के साथ ही पुल पुलिए बनने से आवागमन सहज हुआ है।

छत्तीसगढ़ के शुरूआती 16 वर्षों में तेजी से ग्रामीण सड़कों का निर्माण हुआ। लगभग 32 हजार किलोमीटर पक्की सड़कें और पुल -पुलिया बनायी गई। इन सड़कों के माध्यम से साढे 10 हजार से अधिक बसाहटों को जोड़ा गया।  अब तक योजना में 40,415 किमी लंबी 8,310 सड़कों एवं 426 वृहद पुलों का निर्माण पूर्ण किया जा चुका है। इस योजना मे दूसरे और तीसरे चरण में 10 वर्ष पुरानी सड़कों का मजबूतीकरण और उन्नयन का कार्य किया गया। इस चरण में कुल 5,583 किमी लंबाई की 534 सड़कों एवं 82 वृहद पुलों का निर्माण कार्य पूर्ण जा चुका है। स्वीकृत सभी परियोजनाएं शत-प्रतिशत पूर्ण की जा चुकी हैं।

राज्य के वामपंथी उग्रवाद प्रभावित जिलों में नक्सली उन्मूलन की दिशा में इस योजना ने सार्थकता सिद्ध की है। इन क्षेत्रों में 12,459 किमी लंबाई की बनाई गई हैं। इससे 3,853 बसाहटें भी मुख्यधारा से जुड़ी । जिससे इन क्षेत्रों में आजीविका, शिक्षा, स्वास्थ्य और सुरक्षा व्यवस्था को नया आयाम मिला है।  राज्योत्सव के उद्घाटन समारोह में शामिल हुए प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने सराहना करते हुए कहा कि मैं राज्य निर्माण के पहले भी छत्तीसगढ़ आया करता था। उस समय गांवों तक पहुंच पाना बहुत मुश्किल होता था। कई गांवों में सड़क थे ही नहीं, 25 वर्षों में राज्य ने बहुत तरक्की की है। आज राज्य में 40 हजार किलोमीटर से अधिक लंबे सड़कों का जाल गांव गांव तक फैल गया है। 

उपमुख्यमंत्री एवं पंचायत एवं ग्रामीण विकास मंत्री विजय शर्मा ने कहा कि छत्तीसगढ़ में सड़कों से जुड़ते गांव और सशक्त होते ग्रामीण मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय के नेतृत्व में आत्मनिर्भर भारत के लक्ष्य की दिशा में छत्तीसगढ़ के सतत प्रयासों का सशक्त उदाहरण है। उन्होंने बताया कि चौथे चरण में जनजातीय क्षेत्रों और विशेष पिछड़ी जनजाति बहुल गांवों में 8 हजार से अधिक किलोमीटर सड़के बनाए जाने की योजना है। धरती आबा जनजातीय ग्राम उत्कर्ष योजना, प्रधानमंत्री जनमन योजना और आकांक्षी जिलों की बसाहटों में सड़कें प्राथमिकता से बनायी जाएंगी।

The post छत्तीसगढ़ में गांव-गांव बिछा सड़कों का जाल, प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना से राज्य में 25 वर्षों में बनी 40 हजार किमी सड़कें appeared first on ShreeKanchanpath.

Manoj Mishra

Editor in Chief

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button