शहडोल: लगातार हुई बरसात के कारण सब्जियों पर भी असर पड़ा है। यहां सबसे ज्यादा परेशानी माल न आ पाने के कारण हो रही है। व्यापारियों ने सब्जी के दाम बढ़ा दिए हैं। सब्जी के दामों में काफी उछाल आया है और इसका सबसे ज्यादा असर पत्तेदार सब्जियों पर पड़ा है। सब्जी का सबसे प्रमुख हिस्सा धनिया, मिर्च सातवें आसमान पर है। बरबटी 80 रूपए, फूलगोभी 120, बैगन 60, टमाटर 50 रूपए प्रति किलो तक बिक रही है।
बारिश में आवक हुई बंद
व्यापारियों का तर्क है कि जब सब्जी उपलब्ध नहीं हो पा रही है तो हम क्या करें। जो सब्जी शहडोल से बाहर कटनी जबलपुर और बिलासपुर की ओर से आती थी उसका आना इस समय बंद है। कई जगह रास्ते कट गए हैं और बरसात में कई जगह सड़क मार्ग बाधित हो गया है जिसका साफ असर सब्जी पर देखा जा रहा है।
थोक में दाम बढ़े
सब्जी व्यापारी शंकर पटेल का कहना है कि जब हमें माल मंहगा मिलेगा तो मंहगा बेचना मजबूरी है। थोक बाजार में हर सब्जी के दाम बढ़े हैं जिसका असर फुटकर बाजार पर पड़ा है। गंज बाजार सब्जी मंडी के रेट अलग चल रहे हैं और गली गली फेरी लगाकर सब्जी बेचने वालों के रेट अलग चल रहे हैं। इनके बीच डेढ़ गुना दामों का अंतर है।
चुनिया,कल्याणपुर,हरदी,पचगांव तथा आसपास से साइकिल पर सब्जी रखकर बेचने वाले भी माल न मिल पाने के कारण और मंहगाई के चलते सब्जी बेचने गली माेहल्ले में अब कम दिख रहे हैं।
सब्जियों के दाम
आज की स्थिति में सब्जी अब के रेट हरा धनिया 300 रूपए किलो, हरी मिर्च 120 रूपए किलो, आलू 35 रूपए किलो, बरबटी 80 रूपए किलो, बैगन 60 रूपए किलो, टमाटर 50 और परवल 80 रूपए तक बिक रहा है। फूलगोभी 120 रूपए तक पहुंच गई है।
लहसुन में मजबूती, आवक कमजोर
राखी के बाद मंगलवार को थोक सब्जी मंडी में आवक और कामकाज कमजोर देखा गया। इंदौर के देवी अहिल्याबाई होलकर (चोइथराम) थोक मंडी में मंगलवार को प्याज की आवक घटकर सिर्फ 28 हजार बोरी रह गई। प्याज के दाम स्थिर और मजबूत बने हुए हैं। ऊपर में प्याज सुपर 3300 रुपये तक बिका।
आलू की आवक बमुश्किल पांच हजार बोरी की रही। आलू ऊपर में 2500 रुपये तक बिका। लहसुन में हल्की मजबूती देखी गई। आवक सिर्फ साढ़े तीन हजार बोरी की रही। लहसुन के भाव ऊपर में 23000 रुपये तक रहे।
लोगों ने कहा बिगड़ा बजट
गृहिणी संध्या शर्मा का कहना है कि वह हर शनिवार सब्जी लेने के लिए बाजार आती हैं। इस बार सब्जी के दामों में काफी मंहगाई दिखी है। मजबूरी है कि सब्जी लेना ही है इसके बगैर चलता ही नहीं है।
होटल संचालक सुरेश कटारे का कहना है कि ग्राहक को दस दिन पहले जो रेट होटल में लगाया जाता था वही रेट अब भी लगा रहे हैं सब्जी मंहगी हो जाने से मुनाफा कम हुआ है पर व्यापार तो करना ही है।